नई दिल्ली । चित्तौड़गढ़ सांसद सी.पी.जोशी ने नई दिल्ली में केन्द्रीय नागरीक उड्डयन मंत्री श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया से भेंट की तथा संसदीय क्षेत्र चित्तौड़गढ़ के डबोक स्थित महाराणा प्रताप हवाई अड्डा, उदयपुर के विकास के सम्बन्ध में विभिन्न विषयों पर चर्चा की।
सांसद जोशी ने केन्द्रीय नागरीक उड्डयन मंत्री से भेंट के दौरान उदयपुर हवाईअड्डे पर स्थित सुविधाओं की जानकारी दी एवं वहॉ की प्रमुख आवश्यकताओं के बारे में ध्यानाकर्षण करते हुये बताया की उदयपुर से खाड़ी देशों समेत पर्यटन वाले अन्य देशों के लिये नई अर्न्तराष्ट्रीय उडानों को प्रारंभ किये जाने की अत्यन्त आवश्यकता है। उदयपुर हवाई अड्डा दक्षिणी राजस्थान का महत्वपुर्ण हवाई अड्डा है। यह क्षेत्र अपने प्राकृतिक सौन्दर्य व संसाधनों के कारण विश्व में प्रसिद्ध पर्यटन स्थल हैं, साथ ही विश्व का विख्यात वेडिंग डेस्टीनेशन है। यहॉ पर ट्युर पैकेज से भी हजारों पर्यटक आते है।
उदयपुर तथा आस-पास के जिलों से खाड़ी देशो में भी हजारों लोग कार्य करते हैं, तथा वहॉ व्यापार व रोजगार में लगे है, जिनका अन्य देशों से लगातार आना व जाना लगा रहता है। इसके साथ साथ शिक्षा व प्रोद्योगिकी एवं चिकित्सा के लिये भी यहॉ विशेषज्ञों का विदेश से आना जाना लगा रहता है। यहॉ के उद्योगों के लिये भी विदेशों से डेलिगेशन का आना जाना होता रहता है। यहॉ का आध्यात्मिक सर्किट जिसमें श्रीसांवलियाजी, नाथद्वारा, त्रिपुरासुंदरी जैसे धार्मिक स्थलों के साथ साथ विश्वविरासत दूर्ग चित्तौड़गढ़, कुम्भलगढ़, माउन्ट आबु के साथ झीलें राजसमन्द, जयसमन्द, फतहसागर, पीछोला व रमणीय वन्य जीव अभयारण्य यहॉ पर विश्व भर से पर्यटकों को आर्कषित करते है।
इसके साथ ही उदयपुर हवाई अड्डा अर्न्तराष्ट्रीय स्तर के सभी मापदण्ड पुर्ण करता है। यहॉ से कार्गो की सुविधा भी सुविधा भी प्रारंभ हो चुकी है। उदयपुर एयरपोर्ट पर नाईट लेंडिग सुविधा उपलब्ध हैं तथा इमिग्रेशन टीम ने यहॉ का दौरा किया हैं तथा उसके लिये आवश्यक उपकरणों की स्थापना भी की जा चुकी है। उदयपुर एयरपोर्ट पर आवश्यक रनवे एवं ऐप्रोन कार्य कर रहे है। इंटिग्रेटेड टर्मिनल का कार्य स्वीकृत हो गया एवं डिजायन फेज में चल रहा है। कस्टम विभाग के वहॉ पर स्थापित करने की आवश्यकता है। इस प्रकार से उदयपुर के लिये यहॉ के अर्न्तराष्ट्रीय उडानों को प्रारंभ किये जाने की आवश्यकता है।
वर्तमान में उदयपुर में 12000 स्क्वायर मीटर का टर्मिनल भवन हैं तथा इसके साथ ही 40000 स्क्वायर मीटर के टर्मिनल भवन का और निर्माण किया जायेगा। इस टर्मिनल भवन के निर्माण के पश्चात यहॉ पर घरेलु एवं अर्न्तराष्ट्रीय उड़ानों के लिये आवश्यक विभिन्न यात्री सुविधाओं के साथ साथ आधारभूत अवसंरचना के निर्माण में सहायता मिलेगी।