फतहनगर। महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय सनवाड में सांस्कृतिक स्रोत प्रशिक्षण केंद्र उदयपुर एवं संस्कृति मंत्रालय भारत सरकार के द्वारा पर्यावरण कार्यशाला आयोजित की गयी। कार्यशाला के मुख्य अतिथि रतन कुमार चाष्टा थे जबकि विशिष्ट अतिथि सुरेशचन्द्र शर्मा वनपाल रेंज मावली, रवि प्रकाश खारदडिया,रामलाल मीणा आदि थे। कार्यशाला की अध्यक्षता उपप्रधानाचार्य रजनी जोशी ने की। कार्यक्रम का संचालन वरिष्ठ अध्यापक दिनेश आमेटा द्वारा किया। मुख्य वक्ता सीसीआरटी के विशेषज्ञ डॉ. ललित नारायण आमेटा ने स्वच्छ भारत अभियान एवं उसके लक्ष्य पर विस्तृत जानकारी देते हुए स्वच्छ,हरित एवं सर्वोच्च भारत निर्माण पर चर्चा करते हुए सिंगल युज प्लास्टिक उपयोग में नहीं लेने का संकल्प दिलाया एवं भारत सरकार द्वारा एक जुलाई 2022 से प्रतिबंध होने की जानकारी प्रदान की। एक रिसर्च के अनुसार एक बार डिस्पोजल कप से चाय पीने से 120 माइक्रों प्लास्टिक कण शरीर में प्रवेश करते हैं जिससे रोग प्रतिरोधक क्षमता शरीर में कम हो जाएगी तो कैंसर बीमारी को जन्म देती है। सिंगल यूज प्लास्टिक के विकल्प पर चर्चा करते हुए बताया कि मकई के स्टार्च से बनी कंपोस्टेबल बैग्स का उपयोग करें जोकि भारत सरकार से मान्यता प्राप्त है और 180 दिन में कंपोस्ट में परिवर्तित हो जाती है। यह कंपोस्ट थैली पर्यावरण मित्र होती है। इस अवसर पर वृक्ष महत्व पर प्रकाश डालते हुए बताया कि एक रिसर्च के अनुसार 1 टन भारवाला पौधा 50 वर्ष में 15 लाख रुपए लाभ पर्यावरण के खाते में डालता है जो प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से मानव जीवन में उपयोगी है।
क्षेत्रीय वन कार्यालय से वनपाल सुरेश चन्द्र शर्मा ने पर्यावरणीय रोचक तथ्य प्रस्तुत किये। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि रतन कुमार चाष्टा ने बताया कि सीसीआरटी द्वारा पर्यावरण कार्यशाला शैक्षिक विस्तार एवं सामुद्रिक पुनर्निवेश में महत्वपूर्ण कारगर सिद्ध होगी। इस अवसर पर विद्यार्थियों को स्वच्छ पर्यावरण सर्वोच्च भारत निर्माण का संकल्प करवाया। कार्यक्रम की अध्यक्षा रजनी जोशी द्वारा पर्यावरण हनन की मानवीय गतिविधि से 2050 फिल्म के रोचक तथ्य प्रस्तुत किये और कार्यशाला की समापन की घोषणा की।
फतहनगर - सनवाड