फतहनगर. मचींद में चातुर्मास के लिए विराजित मेवाड़ परंपरा की वरिष्ठ महासती मधुर गायिका राजमती जी महाराज साहब के आज संथारा सहित देवलोक होने के बाद सायंकाल डोल यात्रा का आयोजन किया गया. डोल यात्रा में बड़ी संख्या में जैन बंधुओं ने भाग लिया. डोल यात्रा के बाद महासती की पार्थिव देह पंचतत्व में विलीन हो गई. महासती के देवलोक गमन के बाद फतहनगर पावन धाम संस्थान समेत देश की विभिन्न जैन धार्मिक संस्थाओं ने शोक व्यक्त करते हुए समाज के लिए इसे अपूरणीय क्षति बताया है. फतहनगर श्री संघ अध्यक्ष जैनेंद्र जैन, पारसमल बापना, लक्ष्मी लाल खेरोदिया, देवीलाल खेरोदिया, रमेश चंद्र मारू, भगवतीलाल चपलोत आदि ने भी महासती जी की डोली यात्रा में शिरकत की.
उदयपुर