उदयपुर। मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय की ओर से शुक्रवार को छात्र संवाद कार्यक्रम आयोजित किया गया। जिसमें नवनिर्वाचित छात्र संघ पदाधिकारियों ने कुलपति सहित विश्वविद्यालय के अन्य अधिकारियों के समक्ष अपनी मांगों और समस्याओं को रखा।
विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर आईवी त्रिवेदी की अध्यक्षता में आयोजित इस संवाद कार्यक्रम में छात्र संघ से जुड़े विभिन्न पदाधिकारियों ने अपनी बात रखी।
केंद्रीय छात्रसंघ अध्यक्ष कुलदीप सिंह सुवावत ने कहा कि परीक्षा परिणामों को लेकर मैं विद्यार्थियों मैं असंतोष रहता है इसको दूर करने की जरूरत है। इस पर कुलपति प्रोफेसर त्रिवेदी ने कहा कि विद्यार्थियों को परीक्षा परिणाम का सम्मान करना चाहिए। परिणाम विद्यार्थियों के अध्ययन का पैमाना है और इसी से भविष्य में रोजगार भी मिलता है और विश्वविद्यालय की छवि भी मजबूत तौर पर दिखाई पड़ती है। इसलिए परीक्षा परिणाम में अंक बढाने से संबंधित समस्याओं को बेवजह उठाने से बेहतर है कि पढाई के माहौल पर ध्यान दिया जाए। कुलपति ने कहा कि यदि परिणामों में पुनर्मूल्यांकन अथवा अन्य कोई तकनीकी समस्या है तो उसका समाधान हाथों-हाथ किया जाएगा लेकिन परीक्षा परिणाम 95 प्रतिशत के बावजूद अगर विद्यार्थियों में असंतोष है तो इसके लिए उन्हें खुद भी विचार करना होगा कि हम किस तरह की मांग कर रहे हैं।
कुलपति प्रोफेसर त्रिवेदी ने कहा कि कोरोना कॉल अब बीत गया है इसलिए अब पुरानी पद्धति से ही परीक्षाएं होगी, जिसमें 3 घंटे का समय होगा तथा पांचों यूनिट से सवाल पूछे जाएंगे।
कुलदीप सिंह ने कहा कि विश्वविद्यालय व महाविद्यालय के सभी छात्र संघ पदाधिकारियों का एक व्हाट्सएप ग्रुप बनाया जाए जिसमें विश्वविद्यालय के सारे नोटिफिकेशन और सूचनाएं साझा की जाए। इस बात पर सहमति जताते हुए रजिस्ट्रार सीआर देवासी ने कहा कि शीघ्र ही ग्रुप बना दिया जाएगा।
कॉमर्स कॉलेज के उपाध्यक्ष
साहिल नागोरी और महासचिव हर्षद, विधि महाविद्यालय के महासचिव निशांत शर्मा ने
हेल्पलाइन व्यवस्था को मजबूत बनाने, प्लेसमेंट कार्यक्रमों में विद्यार्थियों को अधिकाधिक भाग लेने के लिए प्रेरित करने और प्लेसमेंट में सहयोग करने की बात कही। छात्रावास से संबंधित समस्याएं ठीक करने साफ सफाई का ध्यान रखने एवं सुविधाएं बढ़ाने की दिशा में शीघ्र कार्य करने की मांग पर कुलपति ने कहा की जनजाति विभाग को एक नए छात्रावास के लिए प्रस्ताव भेजा जाएगा।
विश्वविद्यालय शोध प्रतिनिधि अनुभव बर्बर ने कहा कि डीआरसी और पीजीआरबी समय पर हो और साथी जो छात्राओं के लिए अलग से छात्रावास की व्यवस्था की जाए। छात्र नेताओं ने कहा कि युवा संसद एवं अकादमिक कार्यक्रमों की कार्य योजना भी बनाई जाएगी जिसमें प्रशासन का सहयोग अपेक्षित रहेगा।
इस अवसर पर कुलपति प्रोफेसर त्रिवेदी ने छात्रसंघ पदाधिकारियों को कहा कि विद्यार्थियों की विभिन्न मांगों को लेकर उनके पास आने वालों का स्वागत है लेकिन जब छात्र नेता भीड़ साथ ले कर आते हैं तब ना तो समस्या सुन पाते हैं ना उस पर चर्चा हो पाती है ऐसे में छात्र नेताओं को अपनी नेतृत्व क्षमता का विकास करना होगा और 1 या 2 लोगों के साथ आकर अपनी बात कहनी होगी। उन्होंने बात बात पर भीड़ इकट्ठा करने की आदत को बदलने की नसीहत दी।
छात्र संवाद कार्यक्रम में छात्र कल्याण अधिष्ठाता प्रो शूरवीर सिंह भाणावत, साइंस कॉलेज के डीन प्रो सीपी जैन, डीन पीजी स्टडीज प्रो मदन सिंह राठौड़, चीफ वार्डन प्रो मंजू बाघमार, चीफ प्रॉक्टर प्रो बीएल वर्मा, डिप्टी रजिस्ट्रार मुकेश बारबर, एफएमएस के डायरेक्टर प्रो हनुमान प्रसाद, कंप्यूटर सेंटर के डायरेक्टर डॉ अविनाश पंवार, परीक्षा नियंत्रक डॉ राजेश कुमावत, आर्ट्स कॉलेज के एडीएसडब्ल्यू डॉ गट्टू लाल पाटीदार उपस्थित थे। धन्यवाद विश्वविद्यालय मीडिया सेल के कन्वीनर और प्रवक्ता डॉ कुंजन आचार्य ने दिया।
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